फ़ायदा किया हुवा ?
हम किसी को अगर कोई फ़ायदा नहीं पहुंचा सकते है तो हमें उनको नुकसान aour तकलीफ पहुँचाने का भी कोई हाक नहीं है .पारदर्शन ओउर मोज़ाहेरा से ना कभी किसी को फैदा हुवा है ना कभी होगा.मगर पर्दर्शन के नाम पर आम जनता को जो तकलीफ होती है उन्हें जिस तरह की परेशानी का सामना करना परता है उसे लखना मुस्क्किल है.अपनी सेयासी रोटी सेँकने के लिए हर पार्टी के रहनुमा हर हत्क्न्दा अपनाने की कोशिश करते है जिस से जनताको सिर्फ नुकसान होता है.पिछले दिनों भारत बंद से मुल्क भर में लोगो जिस तरह से परेशानी का सामना करना परा उसका अंदाज़ा लगाना मुश्कील है.गौर करने की बात यह है के उस बंदका नतीजा किया निकला?किया मँहगाई के नाम पर होने वाले बंद से मंगाई kaम होगी .नहीं कभी नहीं?मुल्क के रहनुमा को इस मस्ले पर मिल कर बैठना होगा सोचना होगा के आखिर रोज़ रोज़ होने वाले मोजाहरे पर्दर्शन से आम जनता को जो तकलीफ़ होती है उन्का जो नोकसान होता है उसकी भरपाई कोन करेगा.वोह लोग जिनकी समाज में कोई हैस्यत नहीं है ,नहीं कोई मक़ाम व मर्तबा है वोह अपनी हैस्यत से कहीं बारे लोगो को रोक कर उनके साथ बदतमीजी से पेश आते है.ऐसे बदमाश को लगाम कोन देगा?